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भगत सिंह
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“यदि बहरों को सुनाना है तो आवाज़ को बहुत जोरदार होना होगा”

“…व्यक्तियो को कुचल कर , वे विचारों को नहीं मार सकते।”

“निष्ठुर आलोचना और स्वतंत्र विचार ये क्रांतिकारी सोच के दो अहम् लक्षण हैं।”

“महान साम्राज्य ध्वंस हो जाते हैं पर विचार जिंदा रहते हैं।”

Sunday, January 24, 2021

राजमंगल पाण्डेय ( जमशेदपुर, झारखण्ड ) : जय हिन्द, जय भारत


जय हिन्द, जय भारत 

भारत माता के प्रहरी हम 
हर स्वर का नव गीत रचें  ।
आँखों में चमक लिये यों
दिलों को बस जीत चलें ।

गिरते उन्हें हम थाम लें 
सपनों  को साकार करें ।
दुश्मनों को ध्वंस करते 
नई गति का संचार करें ।

'वंदे मातरम' का ताल हो
रगों में हो नव रक्त प्रवाह ।
'जय हिन्द' के रव में बसे
देश खातिर मरने की चाह ।

आओ  भारत को सजायें
अब धरती को आबाद करें ।
घर- घर मुस्कुराता चेहरा हो
अंधेरे से उन्हें आजाद करें ।

राजमंगल पाण्डेय ( जमशेदपुर, झारखण्ड )

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